Abu vaccination Q

Abu vaccination: यह भीड़ वेक्सिनेशन की हैं या फिर कतार है, संक्रमण को ओर अधिक तीव्रता से फैलाने की ???

Abu vaccination: वायरस के बचाव के लिए वे टीकाकरण करवाने आए हैं या अपने साथ ही कोरोना वायरस को घर ले जाने के लिए ?????

रिपोर्ट: किशन वासवानी,माउंट आबू
माउंट आबू, 07 मई:
Abu vaccination: प्रदेश की गहलोत सरकार एक के एक बाद कोविड – टू को नियंत्रित करने के जन कल्याण के लिए सख्त से सख्त फ़ैसले ले रही हैं । लेकिन इसी का कुछ उलट प्रदेश के एकमात्र हिल स्टेशन माउंट आबू में देखने को मिल रहा है । यहाँ पर 45 से 60 के आयु वर्ग का वेक्सिनेशन यानि टीकाकरण किया जा रहा है । लेकिन आज शुक्रवार को जब सख्त लॉक-डाउन लगाने का फैसला प्रदेश की गहलोत सरकार ले चुकी है । तो उसी सख्त फैसलों की जमकर के धज्जियाँ कैसे सरकारी कार्मिक व चिकित्सा महकमा उड़ा रहा है , उसकी यह बानगी भर ही है ।

एक बारगी तो माउंट आबू की टीकाकरण (Abu vaccination) क्षेत्र के बाहर मुख्य मार्गों पर आवागमन का दृश्य आप जब देखेंगे तो सुनसान वीरान या इक्का-दुक्का वाहन चलते फिरते नजर आएंगे लेकिन ठीक इसके उलट टीकाकरण केंद्र में कैसे लोग एक एक के बाद एक कतार में खड़े हैं जैसे यह सभी वेक्सिनेशन यानि टीकाकरण के लिए नहीं संक्रमण यानी कोरोनावायरस को आपस मे बॉटने आये हो ।

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दृश्यों में नजर आ रही लापरवाही व उसे ही नजरअंदाज करती प्रशासनिक कार्मिकों की कार्यशैली ही प्रदेश में कोरोना वायरस टू के फैलाव के लिए बहुत बड़े हद तक जिम्मेदार है । यहां पर ना तो सोशल डिस्टेंसिंग की पालना हो रही है और ना ही वैक्सीनेशन (Abu vaccination) के लिए अपनाए जाने वाले किन्हीं नियमों का कड़ाई से पालन होती हुई नजर आ रही है ।

ऐसे में प्रश्न उठता है क्या यह कतार वैक्सीनेशन (Abu vaccination) के लिए है , अथवा कोरोनावायरस टू के संक्रमण के फैलाव के लिए ??? फैसला कतार में आ रहे लोगों को खुद करना है कि वायरस के बचाव के लिए वे टीकाकरण करवाने आए हैं या अपने साथ ही कोरोना वायरस को घर ले जाने के लिए ?????

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