in memory of a friend: ऐ दोस्त… तुम कहा चले गए इस भीड़ में छोड़ तन्हा हमें: ममता कुशवाहा
in memory of a friend: ऐ दोस्त….. अब तो करती हूँ दूआ बस तेरे रूह(आत्मा) को मिले सुकून… ऐ दोस्त तुम कहा चले गए इस भीड़ में छोड़ तन्हा हमेंना … Read More
in memory of a friend: ऐ दोस्त….. अब तो करती हूँ दूआ बस तेरे रूह(आत्मा) को मिले सुकून… ऐ दोस्त तुम कहा चले गए इस भीड़ में छोड़ तन्हा हमेंना … Read More
समूची सृष्टि पर इतना सा हम उपकार तो करते।प्रकृति (Nature) से और इस पर्यावरण से प्यार तो करते। लगे हम उनकी हाँ में हाँ मिलाने, डर ये कैसा थाअगर सहमत … Read More