Manish Sisodia: केजरीवाल सरकार शिक्षा को बना रही है जनांदोलन, दिल्ली है एक परिवार, सब मिलकर अपने बच्चों को पढ़ाएंगे और आगे बढ़ाएंगे: मनीष सिसोदिया

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प्रोग्राम की शुरुआत में इंदिरा गांधी दिल्ली टेक्निकल यूनिवर्सिटी फॉर वूमेन की 200 छात्राएं, सरकारी स्कूलों की 9 वीं से 12 वीं की 1000 छात्राओं को करेंगी मेंटर: Manish Sisodia

दिल्ली सरकार के स्कूलों के बच्चे कर रहे बेहतर प्रदर्शन, हम उनको और बेहतर बनाएंगे, मेंटरशिप प्रोग्राम से छात्रों को मिलेगी मदद- (Manish Sisodia) मनीष सिसोदिया

रिपोर्ट: महेश मौर्य, दिल्ली

नई दिल्ली, 20 मार्च: दिल्ली सरकार ने आज यूथ फ़ॉर एजुकेशन प्रोग्राम के तहत ऐतिहासिक एजुकेशन मेंटरिंग प्रोग्राम लॉंच किया। इस प्रोग्राम को दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने इंदिरा गांधी दिल्ली टेक्निकल यूनिवर्सिटी फ़ॉर वुमेन में लॉंच किया। इंदिरा गांधी दिल्ली टेक्निकल यूनिवर्सिटी फ़ॉर वुमेन की बीटेक, एमटेक, पीएचडी और एमबीए की छात्राएं दिल्ली के सरकारी स्कूलों की 9वीं से 12वीं तक के बच्चियों को मेंटॉर करेंगी। इस प्रोग्राम का मक़सद है कि दिल्ली के सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाली छात्राओं को स्टेम यानि साइंस, टेक्नॉलजी, इंजीनियरिंग और मैथ  विषयों में न सिर्फ़ गाइडेन्स मिल सके, बल्कि इनसे जुड़ी प्रतियोगी परीक्षाओं में भी सहायता मिल सके।

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इस अवसर पर उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia)ने कहा कि 21वीं सदी में पूरा विश्व अब नॉलेज इकॉनमी बन रहा है। इस इकॉनमी में ग्रोथ के लिए  रिसर्च और नवाचार की एक अहम भूमिका है। हम भी नवाचार को और अनुसंधान को प्रोत्साहित कर रहे हैं, लेकिन इस क्षेत्र में महिलाओं की भागीदारी नगण्य है। ख़ासकर स्टेम विषयों में महिलाओं की भागीदारी बेहद कम है। भारत सहित पूरे दक्षिण एशिया में संधान और नवाचार के क्षेत्र में सिर्फ़ 33 फ़ीसदी महिलाएँ हिस्सा ले रही हैं।

सिसोदिया (Manish Sisodia) ने कहा कि इस एजुकेशन मेंटॉरिंग प्रोग्राम की मदद से दिल्ली सरकार स्कूलों की छात्राओं को स्टेम विषयों में मज़बूती के साथ आगे बढ़ाना चाहती है। हम चाहते हैं कि छात्राओं को सही मार्ग दर्शन मिले जिससे कि दिल्ली की लड़कियाँ इन विषयों में उच्च शिक्षा में भी अपना परचम लहरा सकें। दिल्ली सरकार का विज़न है कि लड़कियाँ लड़कों की  तरह स्टेम विषयों में कंधे से कंधा मिलकर अनुसंधान और नवाचार कर सकें और यह प्रोग्राम इस बाबत उनकी सहायता करेगा।

उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia)ने स्टेम क्षेत्र में दिल्ली सरकार के स्कूलों में पढ़ने वाली छात्राओं का मार्गदर्शन करने वाले मेंटरों को संबोधित करते हुए कहा कि देशभर के स्कूलों में हर साल प्री-प्राइमरी और प्राइमरी स्तर पर 21 लाख बच्चों का दाखिला होता है, लेकिन विडंबना है कि आगे जाकर इनमें से केवल 10 हज़ार लड़किया ही उच्च शिक्षा में अपने अध्ययन विषयों में  स्टेम को चुनती हैं। इस अंतराल को खत्म करने के लिए हमारे छात्र और शिक्षक लगातार इस क्षेत्र में कड़ी मेहनत कर रहे हैं और इस अंतर को पाटने में आप सभी मेंटरों द्वारा विद्यार्थियों को दी जाने वाली मेंटरिंग और सलाह महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।

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उन्होंने कहा कि उत्कृष्ट शिक्षा के लिए आमूल-चूल परिवर्तन लाना हमारे मुख्यमंत्री का सपना है। जब मैं पहले सरकारी स्कूलों का दौरा करता था, तो विद्यालयों के जीर्ण-शीर्ण इमारतों, टूटी बेंच वाली कक्षाओं को देखकर चकित रह जाता था। हमनें इन सभी समस्याओं का समाधान किया, अपने स्कूलों की इमारतों को विश्व स्तरीय बनाया। यह शिक्षा की बुनियाद बना और सरकारी स्कूलों में दाखिला लेने पर छात्र गर्व करने लगें। हमने अपने शिक्षकों को प्रोफेशनल डेवलपमेंट का प्रशिक्षण लेने के लिए हॉवर्ड, कैम्ब्रिज, सिंगापुर, फिनलैंड जैसे देशों में भेजा। इन सभी प्रयासों के परिणाम आपके सामने है। आज दिल्ली के सरकारी स्कूलों के बोर्ड का रिजल्ट 98 प्रतिशत से भी ज़्यादा आ रहा है और हमारे विद्यार्थी बिना कोई कोचिंग लिए मेडिकल और आईआईटी जैसे संस्थानों में दाखिला ले रहे हैं।

छात्रों का मार्गदर्शन करने के लिए मेंटरों के प्रयासों की सराहना करते हुए उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया (Manish Sisodia) ने कहा, “कई छात्र, विशेष रूप से लड़के बिना किसी मार्गदर्शन के आईआईटी जा रहे हैं। वे अपने शिक्षकों, पिता और भाइयों से मार्गदर्शन प्राप्त करते हैं, लेकिन हर किसी को इस तरह से सलाह लेने का मौका नहीं मिलता है। मुझे गर्व है कि आप सभी लोग हमारे छात्रों को सलाह दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि आज उच्च शिक्षा के लिए बहुत से छात्र अपने दीर्घकालिक लक्ष्यों को तय करने में भ्रमित हैं। उन्हें सही समय पर सही जानकारी देने की आवश्यकता है, क्योंकि निर्णय लेना कभी-कभी चुनौतीपूर्ण हो सकता है, लेकिन एक सीनियर द्वारा मार्गदर्शन प्राप्त कर छात्र इन चुनौतियों से निपट सकता है। मुझे खुशी है कि आप हमारे छात्रों को उनके लक्ष्य को पाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।’

गौरतलब है कि दिल्ली सरकार के एजुकेशन मेंटरिंग प्रोग्राम में, प्रत्येक आईजीटीडीयूडब्ल्यू मेंटर 9वीं से 12 वीं कक्षा में पढ़ने वाली 5 लड़कियों का मार्गदर्शन करेगा और स्टेम से संबंधित उनके करियर में आने वाली शंकाओं को दूर करने में मदद करेंगे। इसके साथ-साथ स्कूली शिक्षा से उच्च शिक्षा में जाने पर ये मेंटर विद्यार्थियों के प्रवेश परीक्षाओं और अध्ययन संबंधित अन्य ज़रूरतों को पूरा करने में मदद करेंगे।

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