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Green Delhi App: केजरीवाल सरकार ने प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए एडवांस ग्रीन वार रूम और ग्रीन दिल्ली ऐप को लॉन्च किया

Green Delhi App: दिल्ली में पिछले साल 13 हॉट स्पॉट चिन्हित किए गए थे, इस बार 150 हॉटस्पॉट चिन्हित किए गए हैं- गोपाल राय

  • ग्रीन वार रूम के लिए 21 सदस्यीय टीम बनाई है, पूरे विंटर सेशन में टीम 24 घंटे सातों दिन काम करेगी- गोपाल राय
  • ग्रीन दिल्ली एप के माध्यम से दिल्ली का कोई भी नागरिक प्रदूषण संबंधी शिकायत‌ ग्रीन वार रूम तक पहुंचा सकता है, जिसके आधार पर कार्रवाई की जाएगी- गोपाल राय
  • पिछले साल ऐप के माध्यम से 27 हजार शिकायतें आई थीं, जिनमें से 23 हजार से ज्यादा शिकायत दूर हुई हैं, सबसे ज्यादा शिकायत एमसीडी, डीडीए और पीडब्ल्यूडी के आयीं थी- गोपाल राय

नई दिल्ली, 05 अक्टूबर: Green Delhi App: केजरीवाल सरकार ने प्रदूषण को नियंत्रित करने के लिए मंगलवार को एडवांस ग्रीन वार रूम और ग्रीन दिल्ली ऐप को लॉन्च किया है। पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा कि दिल्ली में पिछले साल 13 हॉट स्पॉट चिन्हित किए गए थे, इस बार 150 हॉटस्पॉट चिन्हित किए गए हैं। ग्रीन वार रूम के लिए 21 सदस्यीय टीम बनाई है। पूरे विंटर सेशन में टीम 24 घंटे सातों दिन काम करेगी। ग्रीन दिल्ली एप के माध्यम से दिल्ली का कोई भी नागरिक प्रदूषण संबंधी शिकायत‌ ग्रीन वार रूम तक पहुंचा सकता है। जिसके आधार पर कार्रवाई की जाएगी।

उन्होंने कहा कि पिछले साल ऐप के माध्यम से 27 हजार शिकायतें आई थीं। जिनमें से 23 हजार से ज्यादा शिकायत दूर हुई हैं। सबसे ज्यादा शिकायत एमसीडी, डीडीए और पीडब्ल्यूडी के आयीं थी।

दिल्ली के पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने आज मंगलवार को दिल्ली सचिवालय में एडवांस ग्रीन वार रूम और ग्रीन दिल्ली ऐप लॉन्च (Green Delhi App) की है। इस दौरान पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने कहा कि दिल्ली के अंदर प्रदूषण के खिलाफ अभियान के लिए कल मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने विंटर एक्शन प्लान की घोषणा की है। विंटर एक्शन प्लान तैयार करने के लिए अलग-अलग विभागों, एजेंसियों, आरडब्लूए सहित तमाम लोगों के साथ बैठक की। सभी लोगों से विंटर एक्शन प्लान को लेकर सुझाव लिए गए।

पर्यावरण विभाग की तरफ से कल दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने विंटर एक्शन प्लान का ऐलान किया। जिसमें टॉप टेन प्वाइंट हैं,‌ जिसके आधार पर सरकार काम करेगी। उन्होंने कहा कि विंटर एक्शन प्लान की सबसे अहम कड़ी दिल्ली ग्रीन ऐप (Green Delhi App) और ग्रीन वार रूम है। क्योंकि दिल्ली के दो करोड़ लोगों को वार रूम ऐप के माध्यम से सीधे इस प्रदूषण के खिलाफ युद्ध में जोड़ता है। दिल्ली का कोई भी नागरिक एप के माध्यम से प्रदूषण की शिकायत को वार रूम तक पहुंचा सकता है। जिसके माध्यम से सरकार आगे का एक्शन लेती है।

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गोपाल राय ने कहा कि पिछले साल जब हमने ग्रीन दिल्ली ऐप लॉन्च की थी तो यह केवल एंड्रॉयड फोन पर था। लेकिन इस साल एंड्रॉयड फोन के साथ-साथ आईफोन (आईओएस) यूजर्स के लिए भी लॉन्च की गई है। ऐप दिल्ली के 27 विभाग का संयुक्त प्लेटफार्म है। ग्रीन दिल्ली ऐप (Green Delhi App) पर जितनी शिकायतें आती हैं, उनपर सभी 27 विभागों के साथ मिलकर संयुक्त कार्रवाई करते हैं।

जिसमें केंद्र सरकार, दिल्ली सरकार, नगर निगम के भी विभाग हैं। इस ऐप को संचालित करने के लिए हर विभाग में नोडल अधिकारी नियुक्त किया है। सभी विभाग की तरफ से नियुक्त कुल ढाई हजार लोगों को ग्रीन वार रूम के जरिए ट्रेनिंग दी गई है। उन सभी लोगों का अलग-अलग बैच तैयार किया है, ताकि ऐप पर आने वाली ‌शिकायतों को दूर कर सकें।

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उन्होंने कहा कि अभी तक इस ऐप का परिणाम बेहतर रहा है। पिछले साल ऐप के माध्यम से लगभग 27 हजार शिकायतें आई थीं। उनमें से 23 हजार से ज्यादा शिकायत दूर हुई हैं। उनमें सबसे ज्यादा शिकायत 5 विभागों की आयी हैं। सबसे ज्यादा शिकायतें नगर निगम, डीडीए और पीडब्ल्यूडी के आयी हैं। दिल्ली के अंदर पहले सुप्रीम कोर्ट की गाइडलाइंस के अनुसार 13 हॉट स्पॉट चिन्हित किए गए थे। जिनपर विशेष ध्यान देकर कार्रवाई कर रहे थे।

गोपाल राय ने कहा कि पिछले 1 साल में ग्रीन दिल्ली ऐप (Green Delhi App) से मिली शिकायतों के आधार पर अब 150 हॉटस्पॉट दिल्ली के अंदर चयनित किए गए हैं। इन हॉटस्पॉट की कड़ी निगरानी करेंगे। इन स्थानों पर अधिकारियों के माध्यम से कड़ी निगरानी रख कर प्रदूषण पैदा करने वाले स्त्रोतों को कम करेंगे। इस पूरे अभियान में सबसे महत्वपूर्ण फैक्टर ग्रीन वार रूम है।

ग्रीन वार रूम में मुख्य तौर पर तीन तरह से निगरानी की जाती है। जिसमें अलग-अलग 26 मॉनिटरिंग सेंटर लगे हुए हैं। उन सेंटर की रिपोर्ट को यहां से रोजाना मॉनिटर करते हैं। पराली जो जगह-जगह जलती है, उसकी निगरानी नासा के माध्यम से करते हैं। ऐप के माध्यम से जहां से ज्यादा शिकायतें आती हैं, उनकी निगरानी का काम भी यहां से करेंगे।

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इसलिए महसूस किया कि ग्रीन वार रूम को और मजबूत करने की जरूरत है। उसके लिए प्रोजेक्ट मैनेजमेंट यूनिट को वार रूम के साथ जोड़ा गया है। इसके अंदर यूनिवर्सिटी ऑफ शिकागो के प्रतिनिधि हैं और जीडीआई के पार्टनर हैं। यह संयुक्त टीम वार रूम के साथ अब जुड़ी है। इस पूरे विंटर एक्शन प्लान के लिए काम करेगी।

पर्यावरण मंत्री ने बताया कि हमारे यहां डीपीसीसी के अंदर इंजीनियरों की काफी कमी थी। हम पहले प्रयास कर रहे थे कि उनकी भर्ती हो जाए। हमें पहली सफलता मिली है और 50 इंजीनियर की भर्ती शुरू हो गई है। यह इंजीनियर वार रूम के साथ जुड़कर फील्ड में एक्शन लेने और निगरानी करने का काम करेंगे।

इसके साथ 70 ग्रीन मार्शल हैं जो इस वार रूम से जुड़े हैं और जो एक टास्क फोर्स के रूप में काम करते हैं। जब कोई प्रदूषण की शिकायत आती है तो ग्रीन वार रूम से संबंधित विभाग को भेजते हैं। विभाग समस्या को दूर करने के बाद कहता है कि हमने इस शिकायत को दूर कर दिया है। जिसके बाद ग्रीन मार्शल की टास्क फोर्स ग्राउंड पर जाकर रियलिटी चेक करती है कि हकीकत में वह समस्या दूर हुई या नहीं हुई है।

उन्होंने कहा कि अभी इस पूरे वार रूम को संचालित करने के लिए 21 सदस्यीय टीम बनाई है, जोकि ग्रीन वार रूम से पूरे विंटर सेशन में 24 घंटे सातों दिन काम करेगी। इस टीम को पर्यावरण इंजीनियर बीएल चावला हेड करेंगे और पूरी रिपोर्ट विभाग और सरकार को देंगे।

प्रदूषण के खिलाफ अभियान के लिए आज से वार रूम और ग्रीन दिल्ली ऐप को लॉन्च किया है। इसके माध्यम से दिल्ली के साथ जुड़ रहे हैं। मुख्यमंत्री ने जो एक्शन प्लान घोषित किया है उसे लागू करने के लिए एक-एक कर अभियान शुरू करेंगे। दिल्ली के अंदर प्रदूषण की जो स्थिति है उसे पहले से ज्यादा नियंत्रित कर पाएंगे।

ग्रीन दिल्ली ऐप पर कर सकते हैं ये शिकायत

गोपाल राय ने कहा कि ग्रीन दिल्ली ऐप को लेकर एक सवाल आता है कि हम कौन सी शिकायत करें। कई लोग पानी की शिकायत सहित दूसरी समस्या भी भेज देते हैं। ग्रीन दिल्ली ऐप पर प्रदूषण से संबंधित शिकायतों को ही दूर किया जाता है। ग्रीन दिल्ली ऐप पर  10 तरह की शिकायतें कर सकते हैं।

1. अगर आपके आसपास औद्योगिक ‌क्षेत्र है, वहां पर प्रदूषण दिखता है तो शिकायत कर सकते हैं।
2. अगर पार्क में पत्तियां-बायोमास जल रहा है तो उसकी शिकायत कर सकते हैं।
3.अगर कूड़ा या प्लास्टिक वेस्ट जल रहा है तो उसकी भी शिकायत कर सकते हैं।
4. निर्माण-डिमोलिशन गतिविधि चल रही हैं और धूल प्रदूषण है तो उसकी शिकायत कर सकते हैं।
5. दिल्ली के अंदर सीएनडी वेस्ट सड़क किनारे या खाली जगह पर फेंका जा रहा है तो शिकायत कर सकते हैं।
6.सड़क किनारे या खाली जगह पर कूड़ा फेंका हुआ है और जलाया जा रहा है तो उसकी शिकायत कर सकते हैं।
7. अगर कोई गाड़ी ज्यादा धुआं छोड़कर प्रदूषण कर रही है तो उसकी शिकायत कर सकते हैं।
8. रोड पर गड्डे ज्यादा हैं और वहां से धूल निकल रही है तो उसकी शिकायत कर सकते हैं।
9. यदि किसी रोड पर धूल फैली है तो उसकी शिकायत कर सकते हैं।
10. अगर कहीं पर ध्वनि प्रदूषण हो रहा है उसकी भी शिकायत कर सकते हैं।
यह 10 तरह की शिकायतें ग्रीन दिल्ली ऐप के माध्यम से सीधे ग्रीन वार रूम में भेज सकते हैं।