Manish sisodia 1

Oxygen shortage issue: संसद में केंद्र सरकार ने बोला महाझूठ, बेशर्मी से कहा ऑक्सीजन की कमी से देश में नहीं हुई कोई मौत: उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया

Oxygen shortage issue: केंद्र सरकार की मूर्खतापूर्ण नीतियों का कारण देश में ऑक्सीजन की कमी से हज़ारों लोगों ने गंवाई अपनी जान: उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया

  • ऑक्सीजन की कमी से हुई मौतों पर जिम्मेदारी लेने के बजाए, मौतों को झुठला रही केंद्र सरकार
  • जनता के सामने अपने नाकारापन का सच आने के डर से केंद्र सरकार ने खारिज की ऑक्सीजन की कमी से होने वाले मौतों की पुष्टि करने वाली जांच कमिटी: उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया
  • केंद्र सरकार को चुनौती, हिम्मत है तो बिना किसी अवरोध के जांच कमिटी को करने दे अपना काम: उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया

नई दिल्ली, 21 जुलाई: Oxygen shortage issue: केंद्र सरकार ने संसद के मानसून सत्र में बेशर्मी और संवेदनहीनता के साथ पूरे देश के सामने झूठ बोलते हुए कहा कि कोरोना की दूसरी लहर के दौरान देश में ऑक्सीजन की कमी से कोई मौत नहीं हुई। उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने बुधवार को एक प्रेस-कॉन्फ्रेंस के माध्यम से केंद्र सरकार के इस महाझूठ का पर्दाफाश करते हुए कहा कि केंद्र सरकार के नाकारापन के कारण देश में हज़ारों लोगों की ऑक्सीजन की कमी से मौत हुई।

लेकिन इसपर ज़िम्मेदारी लेने के बजाए केंद्र सरकार बेशर्मी के साथ झूठ बोलकर अपना पल्ला झाड़ रही है। साथ ही केंद्र सरकार ने , दिल्ली सरकार की ऑक्सीजन की कमी (Oxygen shortage issue) से होने वाले मौतों की पुष्टि करने वाली कमेटी को खारिज कर दिया। क्योंकि केंद्र सरकार को डर है कि ये कमिटी उनके कुप्रबंधन और बेशर्मी से बोले गए झूठ को जनता के सामने ले आएगी।

Mohan Bhagawat On CAA: गुवाहाटी में आरएसएस मोहन भागवत ने सीएए पर क्या बोला, पढ़ें पूरी खबर

उपमुख्यमंत्री ने कहा की कोरोना की दूसरी लहर के दौरान पूरे देश में ऑक्सीजन की कमी (Oxygen shortage issue) से त्राहि त्राहि मची हुई थी। लोग ऑक्सीजन की कमी से मर रहे थे। और ये सब केवल और केवल केंद्र सरकार के फेल हो चुके मैनेजमेंट सिस्टम का नतीजा था। जिसके कारण हज़ारों परिवारों ने अपने प्रियजनों को खो दिया। लेकिन कल संसद में केंद्र सरकार ने बड़ी बेशर्मी के साथ झूठ बोलते हुए कहा की पूरे देश में ऑक्सीजन की कमी से कोई मौत नहीं हुई है।

उपमुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार ने बंद कमरे में बैठ कर बिना किसी योजना के 13 अप्रैल 2021 को जो ऑक्सीजन डिस्ट्रीब्यूशन सिस्टम की नीतियां बनाई इसके कारण ही पूरे देश में ऑक्सीजन संकट उत्पन्न हो गया। केंद्र सरकार की मूर्खतापूर्ण नीति ने पूरे देश को संकट में डाल दिया। और इस संकट के दौरान भी केंद्र सरकार ने गंदी राजनीति करना नहीं छोड़ा और जिन राज्यों में भाजपा की सरकार नहीं है उन्हें परेशान करती रही।

ICC ODI Rankings: शिखर धवन ने लगाई लंबी छलांग, जानें अन्य बल्लेबाजों का हाल

कोरोना के दूसरी लहर के दौरान अस्पतालों में ऑक्सीजन की भारी कमी रही। मीडिया रिपोर्ट्स ने भी बताया कि अस्पतालों में ऑक्सीजन की कमी के कारण पूरे देश में रोज़ सैंकडों लोग अपनी जान गंवा रहे थे लेकिन केंद्र सरकार ने इस पर ज़िम्मेदारी लेने के बजाय झूठ बोलना शुरू कर दिया है। केंद्र के इस झूठ को और मजबूत करने के लिए भाजपा के बड़े नेता और प्रवक्ता संबित पात्रा ने प्रेस कॉन्फ्रेंस करते हुए अपने आदत के अनुसार ऑक्सीजन की कमी से हुई मौतों की जिम्मेदारी लेने के बजाय,  अपनी गलती मानने के बजाय झगड़ा करना शुरू कर दिया और अरविंद केजरीवाल को गाली देने लगे।

उपमुख्यमंत्री ने कहा कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के नेतृत्व में दिल्ली सरकार ने ऑक्सीजन की कमी से हुई मौतों की जांच करने और उनके परिजनों को 5 लाख रुपये की सहायता राशि देने के लिए कमिटी का गठन किया लेकिन केंद्र सरकार ने उपराज्यपाल के द्वारा इस कमिटी को खारिज़ कर दिया।  केंद्र सरकार को डर था कि ये कमिटी उनके ऑक्सीजन कुप्रबंधन को जनता के सामने ले आएगी और केंद्र सरकार के नाकारापन का सच जनता के सामने आ जायेगा।

Whatsapp Join Banner Guj

उपमुख्यमंत्री ने कहा कि केंद्र सरकार बार बार झूठ बोल रही है कि राज्यों ने उन्हें आंकड़े नहीं दिए। लेकिन जब आप राज्यों को ऑक्सीजन की कमी से हुई मौत की जांच ही नहीं करने देंगे तब आंकड़े कहां से आ जायेंगे। उपमुख्यमंत्री ने केंद्र सरकार को चुनौती देते हुए कहा की यदि केंद्र सरकार में हिम्मत है और यदि ये चाहते हैं कि ऑक्सीजन की कमी से हुए मौतों की जांच हो और उसकी जिम्मेदारी तय की जाए तो दिल्ली सरकार द्वारा गठित की गई ऑक्सीजन से होने वाली मौत की जांच कमिटी को काम करने दे।

ये कमिटी ऑक्सीजन से होने वाली हर मौत की स्वतंत्र जांच करेगी और आंकड़े जनता के सामने रखेगी। लेकिन मोदी जी डर रहे है इसलिए संसद में भी महाझूठ बोल रहे है और जांच कमिटी को भी काम नहीं करने दे रहे है। क्योंकि इससे केंद्र सरकार की संवेदनहीनता और बदइंतजामी का सच पूरे देश के सामने आ जायेगा।