Navratri 5th Day: आज पांचवें दिन करें मां स्कंदमाता की पूजा, यहां जानें पूजा विधि…
Navratri 5th Day: स्कंदमाता को मोक्ष के द्वार खोलने वाली माता के रूप में पूजा जाता है
धर्म डेस्क, 30 सितंबरः Navratri 5th Day: मां अबे के पवित्र पर्व नवरात्रि का आज पांचवां दिन हैं। आज के दिन मां स्कंदमाता की पूजा का विधान हैं। मालूम हो कि मां स्कंदमाता को मोक्ष के द्वारा खोलने वाली माता के रूप में पूजा जाता हैं। ऐसा कहा जाता है कि मां भक्तों की समस्य कामनाओं की पूर्ति करती है।
मां दुर्गा के पंचम स्वरूप देवी स्कंदमाता की उपासना से भक्त की तमाम इच्छाएं पूरी होती है। साथ ही साथ जीवन में खुशियां आती हैं। संतान प्राप्ति के लिए मां की आराधना करना लाभकारी माना गया हैं। स्कंदमाता की पूजा से भक्त को मोक्ष मिलता हैं। सूर्यमंडल की अधिष्ठात्री देवी होने का कारण मां की पूजा से भक्त अलौकिक तेज और कांतिमय हो जाता हैं। आइए जानें मां के स्वरूप और पूजा विधि के बारे में….
मां स्कंदमाता का स्वरूप
स्कंदमाता का स्वरूप मन को मोह लेने वाला है। इनकी चार भुजाएं हैं। दो हाथों में इन्होंने कमल लिए हैं। मां स्कंदमाता की गोद में भगवान स्कंद बाल रूप में विराजित हैं। मां स्कंदमाता का वाहन सिंह है। शेर पर सवार होकर मां दुर्गा अपने पांचवें स्वरूप यानी स्कंदमाता के रूप में भक्तजनों के कल्याण के लिए सदैव तत्पर रहती हैं।
मां स्कंदमाता पूजा विधि
नवरात्रि के पांचवे दिन सबसे पहले स्नान करें और स्वच्छ वस्त्र धारण करें। फिर घर के मंदिर या पूजा स्थान में चौकी पर स्कंदमाता की तस्वीर या प्रतिमा स्थापित करें। इसके बाद गंगाजल से शुद्धिकरण करें फिर एक कलश में पानी लेकर उसमें कुछ सिक्के डालें और उसे चौकी पर रखें।
अब पूजा का संकल्प लेते हुए स्कंदमाता को रोली-कुमकुम लगाएं और नैवेद्य अर्पित करें। अब धूप-दीपक से मां की आरती उतारें और आरती के बाद घर के सभी लोगों को प्रसाद बांटे और आप भी ग्रहण करें। स्कंदमाता को नीला रंग पसंद है, इसलिए आप नीले रंग के कपड़े पहनकर मां को केले का भोग लगाएं। ऐसा करने से मां निरोगी रहने का आशीर्वाद देती हैं।
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