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Guj Govt celebrate Swagat Saptah: राज्य सरकार ने ‘स्वागत’ ऑनलाइन कार्यक्रम के 20 वर्ष पूरे होने पर स्वागत सप्ताह मनाने का आयोजन किया

Guj Govt celebrate Swagat Saptah: गुजरात सरकार ने गत 20 वर्षों में ‘स्वागत’ ऑनलाइन कार्यक्रम के तहत प्राप्त 94 फीसदी से अधिक जन शिकायतों का किया सफलतापूर्वक निवारण

गांधीनगर, 24 अप्रैलः Guj Govt celebrate Swagat Saptah: गुजरात सरकार ने ‘स्वागत’ ऑनलाइन कार्यक्रम के 20 वर्ष पूरे होने के अवसर पर स्वागत सप्ताह मनाने का आयोजन किया है। पिछले 20 वर्षों में 94.67 फीसदी सफलता दर के साथ स्वागत कार्यक्रम के अंतर्गत राज्य, जिला, तालुका एवं ग्राम स्तर पर प्राप्त नागरिकों की कुल 6,00,642 शिकायतों से 5,68,643 शिकायतों का सफलतापूर्वक निवारण किया गया है। इस तरह, स्वागत ऑनलाइन कार्यक्रम ने गुजरात में सुशासन को प्रोत्साहित करने में बड़ी भूमिका अदा की है।

गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी ने वर्ष 2003 में ऑनलाइन शिकायत निवारण कार्यक्रम ‘स्वागत’ (स्टेट वाइड अटेंशन ऑन ग्रिवेंसेस बाई एप्लीकेशन ऑफ टेक्नोलॉजी) की शुरुआत की थी। ताकि राज्य के सामान्य नागरिक अपनी शिकायतों को सीधे मुख्यमंत्री के समक्ष प्रस्तुत कर सकें और उनकी शिकायतों का तत्काल निवारण किया जा सके। यह कार्यक्रम हर महीने के चौथे गुरुवार को आयोजित किया जाता है, जिसमें मुख्यमंत्री स्वयं जनता की शिकायतें सुनते हैं और उनकी समीक्षा कर उनका निराकरण करते हैं।

पिछले दो दशकों में स्वागत कार्यक्रम ने सरकार और जनता के बीच की दूरी को खत्म करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है। स्वागत कार्यक्रम शुरू होने के बाद से गुजरात के आम नागरिकों को अपनी समस्याओं और शिकायतों का तत्काल समाधान मिल रहा है। वर्ष 2003 में गांधीनगर जिला निवासी अभेराजभाई गढवी के मामले में, उनके 7/12 के जमीन रिकॉर्ड में धोखाधड़ी कर उनके बजाय किसी अन्य व्यक्ति का नाम दाखिल कर दिया गया था। इसके लिए उन्हें संबंधित अधिकारियों की ओर से काफी दिक्कतों का सामना भी करना पड़ा था।

स्वागत शिकायत निवारण कार्यक्रम शुरू होने के बाद उन्होंने अपनी समस्या सीधे तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेंद्र मोदी के समक्ष प्रस्तुत की थी। मुख्यमंत्री ने इस विषय में संबंधित जिला अधिकारी को कार्रवाई करने के लिए कहा और अभेराजभाई की शिकायत का निराकरण किया था। उन्होंने स्वागत कार्यक्रम के सफल कार्यान्वयन के लिए मुख्यमंत्री का बहुत आभार व्यक्त किया था।

इसी तरह, उकाई में रहने वाले मनुभाई पटेल की यह शिकायत थी कि दुकान के लिए भूखंड आवंटित करने में उनके साथ अन्याय किया जा रहा है। जीईबी, उकाई में दुकान का भूखंड आवंटित करने के मामले में उनके साथ अठारह वर्षों से अन्याय किया जा रहा था। अनेकों पत्र व्यवहार और प्रयासों के बाद भी उनकी समस्या का हल नहीं निकल रहा था।

तब उन्होंने वर्ष 2005 में स्वागत कार्यक्रम में तत्कालीन मुख्यमंत्री नरेन्द्र मोदी के समक्ष अपनी शिकायत प्रस्तुत की। मनुभाई ने कहा कि, “मुख्यमंत्री ने मेरा स्वागत किया, रूबरू होकर मेरी समस्या सुनी और उसका अध्ययन किया। उसके बाद मेरे साथ हुए अन्याय को लेकर संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए और मुझे तत्काल न्याय दिलाया।”

उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जनता की महत्वपूर्ण समस्याओं को सुनकर न्याय दिलाने के लिए पूरी तरह से तत्पर एवं सक्षम हैं। उन्होंने मुझे न्याय दिलाने में पूर्ण सहयोग दिया है और इसके लिए मैं आजीवन उनका आभारी रहूंगा।

गुजरात राज्य के ऐसे अनेक सामान्य नागरिकों की लंबे समय से लंबित समस्याओं का स्वागत कार्यक्रम के माध्यम से सफलतापूर्वक निराकरण किया गया है। प्रधानमंत्री द्वारा बनाई गई राह से प्रेरणा लेकर गुजरात के वर्तमान मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल आज स्वागत कार्यक्रम की बागडोर सफलतापूर्वक संभाल रहे हैं। उनके मजबूत नेतृत्व में स्वागत कार्यक्रम के जरिए राज्य के नागरिकों की शिकायतों का निवारण किया जा रहा है।

उल्लेखनीय है कि स्वागत ऑनलाइन कार्यक्रम के अंतर्गत राज्य स्वागत, जिला स्वागत, तालुका स्वागत और ग्राम स्वागत कार्यक्रमों का आयोजन किया जाता है। राज्य स्वागत कार्यक्रम में मुख्यमंत्री स्वयं जनता की शिकायतें सुनते हैं। जिला स्वागत कार्यक्रम में नागरिकों की शिकायतें जिला कलक्टर के समक्ष प्रस्तुत की जाती हैं। तालुका स्वागत कार्यक्रम में नागरिक अपनी शिकायतें तहसीलदार और प्रथम श्रेणी के अधिकारी के समक्ष प्रस्तुत करते हैं।

वहीं, ग्राम स्वागत कार्यक्रम के अंतर्गत नागरिकों को हर महीने की 1 से 10 तारीख के दौरान अपना आवेदन पटवारी/मंत्री को देना होता है। इसके बाद इन आवेदनों का समावेश तालुका स्वागत में किया जाता है और उसके बाद उन आवेदनों का निस्तारण किया जाता है।

इसके अलावा, एक लोक फरियाद कार्यक्रम भी चलाया जाता है, जिसके तहत नागरिक स्वागत यूनिट पर अपनी शिकायत का आवेदन ऑनलाइन दर्ज कराते हैं और उसके बाद इन आवेदनों को संबंधित अधिकारियों को भेजा जाता है। इसके साथ ही, मुख्यमंत्री कार्यालय की ओर से वर्ष 2021 में ऑनलाइन ग्रिवेंस पोर्टल ‘डब्ल्यूटीसी’ (राइट टू सीएमओ- सीएमओ को लिखें) भी शुरू किया गया था। जिसके अंतर्गत इस पोर्टल के मार्फत नागरिक अपनी शिकायतें सीधे मुख्यमंत्री से साझा कर सकते हैं।

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