Protection from heat and sunstroke

Protection from heat and sunstroke: प्रधानमंत्री के संसदीय क्षेत्र मे गर्मी एवं लू से बचाव हेतु विशेष प्रबंध

Protection from heat and sunstroke: मतदेय स्थलों पर मतदाता और चुनाव कर्मियों को गर्मी व लू से बचाने के निर्देश

  • Protection from heat and sunstroke: लू प्रभावित क्षेत्रों में स्थित मतदेय स्थलों में टेंट, छतरियों, कुर्सियों सहित पेयजल की व्यवस्था हो
  • मतदाताओं और मतदान कर्मियों को गर्मी से बचाने के लिए मतदेय स्थलों पर पंखे, मिस्टिंग पंखे लगाये जाए
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रिपोर्ट: डॉ राम शंकर सिंह
वाराणसी, 09 अप्रैल:
Protection from heat and sunstroke: उत्तर प्रदेश के मुख्य निर्वाचन अधिकारी नवदीप रिणवा ने बताया कि भारत निर्वाचन आयोग ने अप्रैल-जून महीनों की भीषण गर्मियों के दौरान हो रहे है लोकसभा सामान्य निर्वाचन-2024 तथा विधानसभा उपनिर्वाचन ने व्यापक प्रबंध करने के निर्देश दिये हैं। उन्होंने वरिष्ठ नागरिकों और दिव्यांग व्यक्तियों जैसे मतदाताओं के साथ चुनाव ड्यूटी में लगे कर्मियों की लू से सुरक्षा सुनिश्चित करने के निर्देश दिये हैं।

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मुख्य निर्वाचन अधिकारी ने सभी जिला निर्वाचन अधिकारियों को निर्देशित किया कि मौसम विभाग (आईएमडी) की लू के सम्बन्ध में की गयी भविष्यवाणी के दृष्टिगत और स्थानीय जलवायु पैटर्न के आधार पर लू की स्थिति वाले क्षेत्रों में स्थित मतदेय स्थलों की समय से पहचान कर लें। इसके लिए लू के प्रभाव को कम करने के लिए मतदेय स्थलों पर आवश्यक सुविधाएं समय से पूरी करना सुनिश्चित करें। मतदाताओं को धूप से बचाने के लिए ऐसे मतदेय स्थलों पर पर्याप्त छायादार संरचनाओं जिसमें- टेंट, छतरियां कुर्सियों की व्यवस्था हों।

मतदाताओं और मतदान कर्मियों के लिए आरामदायक तापमान बनाए रखने के लिए, जहां भी आवश्यक हो, पंखे या मिस्टिंग पंखे जैसे आदि उपकरण भी लगाये जाए। साथ ही, सभी मतदेय स्थलों पर पर्याप्त वेंटिलेशन भी हो। सभी मतदेय स्थलों पर शीतल पेयजल की व्यवस्था अवश्य की जाये।

निर्वाचन प्रक्रिया के दौरान मतदेय स्थल के कार्मिकों के लिए आयोजित प्रशिक्षण सत्र में गर्मी से संबंधित बीमारियों के लक्षणों को पहचानने और उनसे बचाव की समुचित प्रक्रियाओं की जानकारी भी दी जाए। लू के प्रभाव को कम करने के लिए अतिरिक्त संसाधनों के साथ ही स्थानीय सरकारी एजेंसियों, स्वास्थ्य विभाग और आपातकालीन सेवाओं के साथ समन्वय भी बनाकर रखे। इस दौरान आम जनता को लू से बचाने संबंधी सुरक्षा नियमों का सोशल मीडिया के माध्यम से व्यापक प्रचार-प्रसार कराने और सार्वजनिक घोषणाओं सहित विभिन्न संचार चैनलों का उपयोग किया जाए.

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